Home » निर्यात पर सरकार के जोर से कम हुआ व्यापार घाटा

निर्यात पर सरकार के जोर से कम हुआ व्यापार घाटा

  • वैश्विक कमोडिटी की कीमतों में नरमी और इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास के चलते व्यापार संतुलन (आयात और निर्यात का अंतर) अच्छा हो रहा है।

नई दिल्ली। सरकार की पीएलआई स्कीम के तहत वस्तुओं के निर्यात को बढ़ावा देने, वैश्विक कमोडिटी की कीमतों में नरमी और इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास के चलते व्यापार संतुलन (आयात और निर्यात का अंतर) अच्छा हो रहा है। ये बात प्रभुदास लीलाधर के रिसर्च डायरेक्टर अमनीश अग्रवाल ने कही है। इसके अलावा, तेल की कीमतों (81-83 डॉलर प्रति बैरल) और रुपये (82 रुपये/डॉलर) में मजबूती ने भारत के लिए आयात बिल कम कर दिया है।

फरवरी 2024 में भारत का निर्यात 73.55 बिलियन अमेरिकी डॉलर था, जबकि आयात 75.50 बिलियन अमेरिकी डॉलर था, जिससे फरवरी में व्यापार घाटा कम होकर 1.95 बिलियन अमेरिकी डॉलर रह गया, जो एक साल पहले फरवरी 2023 में 4.15 बिलियन अमेरिकी डॉलर था।

आगे उन्होंने कहा, “विदेश व्यापार नीति 2023 का लक्ष्य 2030 तक 2 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर के निर्यात का है। ये लक्ष्य हासिल करने में विश्व की बड़ी अर्थव्यवस्थाओं के साथ व्यापार समझौतों की बड़ी भूमिका होगी।” एमके ग्लोबल फाइनेंशियल सर्विसेज ने एक नोट में कहा कि जहां वित्त वर्ष 2024 की तीसरी तिमाही में व्यापार घाटा जीडीपी के 1.7 प्रतिशत होने की संभावना है, वहीं चौथी तिमाही में यह जीडीपी का 0.5 प्रतिशत यानि सरप्लस होने की संभावना है।

इसका मुख्य कारण वस्तुओं और सेवाओं के निर्यात में उम्मीद से ज़्यादा अच्छा प्रदर्शन है। नेट सेवा निर्यात बहुत अच्छी है, सॉफ्टवेयर निर्यात भी ठीक है और गैर-सॉफ्टवेयर निर्यात में साल-दर-साल 50 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि होने की संभावना है।

Swadesh Bhopal group of newspapers has its editions from Bhopal, Raipur, Bilaspur, Jabalpur and Sagar in madhya pradesh (India). Swadesh.in is news portal and web TV.

@2023 – All Right Reserved. Designed and Developed by Sortd