आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता मनीष सिसोदिया को करीब एक साल बाद अंतरिम जमानत मिली है।
कोर्ट ने सिसोदिया को 2 लाख रुपए का पर्सनल बॉन्ड और इतनी ही जमानत राशि जमा कराने को कहा।
नई दिल्ली । दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता मनीष सिसोदिया को करीब एक साल बाद अंतरिम जमानत मिली है। लखनऊ में भतीजी की शादी में शामिल होने के लिए कोर्ट ने सिसोदिया को 13 से 15 फरवरी तक राहत दी है।
पिछले साल 26 फरवरी को गिरफ्तारी के बाद यह पहला मौका है जब सिसोदिया इतने समय के लिए जेल से बाहर रहेंगे। राउज ऐवेन्यू कोर्ट में सोमवार को दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद स्पेशल जज एमके नागपाल ने ‘आप’ नेता को राहत दी। कोर्ट ने सिसोदिया को 2 लाख रुपए का पर्सनल बॉन्ड और इतनी ही जमानत राशि जमा कराने को कहा।
सीबीआई और ईडी के केस में सिसोदिया की अंतरिम जमानत अर्जी को स्वीकार करते हुए कोर्ट ने कहा कि सिसोदिया को 13 फरवरी की शाम को जेल से रिहा किया जाएगा और 15 फरवरी की शाम उन्हें सरेंडर करना होगा। कोर्ट ने नियमित जमानत के लिए दायर याचिका पर सुनवाई 17 फरवरी तक टाल दी है।
सिसोदिया ने 5 दिन के लिए जमानत की मांग की थी। उन्होंने दलील दी कि वह रीति-रिवाजों को निभाने के लिए परिवार के एकमात्र पुरुष सदस्य हैं। उन्होंने यह भी कहा कि भतीजी उनके काफी करीब है। सीबीआई और ईडी ने सिसोदिया की याचिका का विरोध करते हुए कहा कि आरोपी बहुत प्रभावशाली हैं और सबूतों को नुकसान पहुंचा सकते हैं। ईडी ने कहा कि शादी में शामिल होने के लिए एक दिन काफी है। ईडी की तरफ से पेश वकील ने यह भी कहा कि आजकल तो दूल्हा-दुल्हन भी शादी के लिए पांच ही दिन छुट्टी लेते हैं।