कोविड डाटा लीक होने को लेकर राजनीतिक दलों ने सरकार पर हमला तेज कर दिया है। तृणमूल कांग्रेस ने लोगों की व्यक्तिगत जानकारी सार्वजनिक होने को लेकर सरकार को घेरा है। वहीं सरकार की ओर से इस पर स्पष्टीकरण भी आ चुका। सरकार का कहना है कि स्वास्थ्य मंत्रालय का कोविन पोर्टल डाटा प्राइवेसी के लिए सुरक्षा उपायों के साथ पूरी तरह सुरक्षित है। डाटा लीक की रिपोर्ट बिना किसी आधार और शरारतपूर्ण प्रकृति की हैं। सरकार इसकी जांच करवा रही है।
सनद रहे कि टेलीग्राम बॉट भारत में टीके लेने वाले सभी लोगों की डिटेल्स शेयर किया। इसकी जानकारी मिलते ही बॉट पर रोक लगा दी गई । हालांकि, निलंबित होने से पहले, बॉट ने भारत में कोविड वैक्सीन लेने वाले लोगों का जानकारी शेयर की, जब भी उन्हें फोन नंबर के लिए कहा गया। उन्होंने नाम, फोन नंबर, आधार नंबर या पासपोर्ट नंबर (अगर पासपोर्ट का इस्तेमाल किया गया था), वोटर आईडी (अगर उपलब्ध है), वैक्सीनेशन का स्थान, जन्म तिथि, (कुछ मामलों में) घर का पता आदि शेयर की। यहां तक लोगों ने वैक्सीन लेने के लिए जो भी नंबर साझा किए थे, उसकी पूरी जानकारी इसमें बताई गई।
वहीं दूसरी ओर सरकार ने डाटा लीक के दावे को पूरी तरह से खारिज कर दिया। केंद्र सरकार ने कहा कि स्वास्थ्य मंत्रालय का को-विन पोर्टल डेटा गोपनीयता के लिए सुरक्षा उपायों के साथ पूरी तरह से सुरक्षित है। इसके साथ ही उन मीडिया रिपोर्टों को खारिज कर दिया गया है जिसमें कहा गया था कि सभी टीकाकृत भारतीयों का डाटा ‘ऑनलाइन लीक’ हो गया है। देश में कोविड-19 टीकाकरण प्राप्त करने वाले लाभार्थियों के डेटा का दावा करने वाली मीडिया रिपोर्ट का हवाला देते हुए, सरकार ने कहा कि वे बिना किसी आधार के है और शरारतपूर्ण तरीके से किए गए हैं। स्वास्थ्य मंत्रालय ने सीईआरटी-इन से इस मुद्दे को देखने और एक रिपोर्ट प्रस्तुत करने का अनुरोध किया है।
कांग्रेस को इस डाटा लीक पर नहीं कोई आपत्ति
को—विन के डाटा लीक को लेकर सरकार को कटघरे में खड़े करने वालों की कतार में कांग्रेस खड़ी नहीं है। कांग्रेस को इस लीक पर कोई आपत्ति नहीं है। कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता व राज्यसभा सांसद ने कहा कि इंटरनेट पर मेरे बारे में सारी जानकारी मिल जाएगी। उसमें मेरा फोन नंबर, घर का पता, ईमेल एड्रेस जैसी सभी जानकारियां मिल जाएगी।
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