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- मंदिर के गर्भगृह में रामलला की प्रतिमा स्थापित की जाएगी।
- मैसूर के मूर्तिकार अरुण योगिराज श्यामशिला से भगवान रामलला की मूर्ति का निर्माण करेंगे।
नई दिल्ली: भगवान राम के भक्तों का एक दशक का लंबा इंतजार जनवरी 2024 में खत्म होने जा रहा है। जनवरी में नवनिर्मित राम मंदिर में राम लला की ‘प्राण प्रतिष्ठा’ की जाएगी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 22 जनवरी, 2024 को अयोध्या में नवनिर्मित राम मंदिर में राम लला की ‘प्राण प्रतिष्ठा’ करेंगे। सूत्रों ने सोमवार को यह जानकारी दी। मंदिर के गर्भगृह में रामलला की प्रतिमा स्थापित की जाएगी। सूत्रों के अनुसार मैसूर के मूर्तिकार अरुण योगिराज श्यामशिला (चट्टान) से भगवान रामलला की मूर्ति का निर्माण करेंगे। राम मंदिर निर्माण को लेकर मंदिर ट्रस्ट की दो दिवसीय अनौपचारिक बैठक हुई, जिसमें राम मंदिर में भगवान राम लला के अभिषेक को लेकर अहम चर्चा हुई। इससे पहले समिति ने राम जन्मभूमि परिसर और रामसेवकपुरम का निरीक्षण किया। ट्रस्ट की ओर से जानकारी दी गई है कि ‘प्राण प्रतिष्ठा’ के लिए विद्वानों से राय मांगी गई है। रामलला की मूर्ति बनाने पर भी फैसला लिया गया, जिसके लिए मूर्तिकार अयोध्या पहुंच गए हैं। बैठक में वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से राम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय, उडुपी पीठाधीश्वर विश्व तीर्थ प्रसन्नाचार्य, कामेश्वर चौपाल, अयोध्या नरेश विमलेंद्र मोहन मिश्र, डॉ. अनिल मिश्रा व निर्मोही अखाड़ा के महंत दिनेंद्र दास सहित ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष गोविंददेव गिरि भी मौजूद रहे।
ट्रस्ट की बैठक में हुआ था बड़ा फैसला
इससे पहले श्रीराम जन्मभूमि तीरथ क्षेत्र ट्रस्ट का न्यासी बोर्ड ने कहा था कि वह सप्ताह भर चलने वाले ‘प्राण-प्रतिष्ठा’ समारोह के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को आमंत्रित करेगा। इसी दौरान अयोध्या में राम मंदिर के गर्भगृह में रामलला की मूर्ति स्थापित की जाएगी। जानकारी के मुताबिक सप्ताह भर चलने वाला समारोह जनवरी 2024 में मकर संक्रांति से या उसके एक दिन बाद शुरू होगा। ट्रस्ट प्राण-प्रतिष्ठा समारोह के लिए एक शुभ तिथि तय करने के लिए प्रसिद्ध ज्योतिषियों से परामर्श कर रहा है। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय के मुताबिक, ट्रस्ट देशभर के मंदिरों में ‘अयोध्या प्राण-प्रतिष्ठा’ का आयोजन भी करेगा। उन्होंन कहा कि हम पीएम मोदी को एक पत्र लिखेंगे और उनसे अयोध्या आने का अनुरोध करेंगे।