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- जलवायु नेतृत्व और इकोसिस्टम के संरक्षण के लिए अथक प्रयासों में सामुदायिक भागीदारी के एवज में पूर्व फेडरल चांसलर एंजेला मर्केल के नेतृत्व में स्वतंत्र जूरी ने व्यक्तियों का चयन किया।
नई दिल्ली, कैलोस्टे गुलबेंकियन फाउंडेशन ने स्थानीय समुदायों के लिए इकोसिस्टम और स्वदेशी भूमि का संरक्षण करने में उत्कृष्ट नेतृत्व के लिए इस वर्ष ‘द गुलबेंकियन प्राइज़ फॉर ह्यूमैनिटी’ (मानवता के लिए गुलबेंकियन पुरस्कार) के विजेताओं की घोषणा की है बंदी “अपाई जांगगुट”, प्रथागत कम्युनिटी लीडर (इंडोनेशिया), सेसिल बिबियान नदजेबेट, प्रचारक और कृषि विज्ञानी (कैमरून) और लेलिया वानिक सालगाडो, पर्यावरणविद्, डिज़ाइनर और दृश्य विज्ञानी (ब्राजील) अपने इकोसिस्टम के संरक्षण का कार्य जारी रखने और बड़े पैमाने पर मदद करने के लिए 10 लाख यूरो पुरस्कार के संयुक्त प्राप्तकर्ता हैं, महिलाओं और स्वदेशी लोगों के जलवायु नेतृत्व और इकोसिस्टम के संरक्षण के लिए अथक प्रयासों में सामुदायिक भागीदारी के एवज में पूर्व फेडरल चांसलर एंजेला मर्केल के नेतृत्व में स्वतंत्र जूरी ने व्यक्तियों का चयन किया। द गुलबेंकियन प्राइज़ फॉर ह्यूमैनिटी जलवायु कार्रवाई और जलवायु समाधानों में सकारात्मक उम्मीद और सम्भावना को प्रेरित करने वाले उत्कृष्ट योगदान को मान्यता देता है। दिल्ली: महत्वपूर्ण इकोसिस्टम का संरक्षण और उसकी रक्षा करने के उत्कृष्ट नेतृत्व के एवज में कैलोस्टे गुलबेंकियन फाउंडेशन द्वारा तीन प्रेरक व्यक्तियों की ‘गुलबेंकियन प्राइज़ फॉर ह्यूमैनिटी’ पुरस्कार के वर्ष 2023 के विजेताओं के रूप में घोषणा की गई, जिनके नाम इस प्रकार हैं: बंदी “अपाई जांगगुट”, प्रथागत कम्युनिटी लीडर (इंडोनेशिया), सेसिल बिबियान नदजेबेट, प्रचारक और कृषि विज्ञानी (कैमरून) और लेलिया वानिक सालगाडो, पर्यावरणविद्, डिज़ाइनर और दृश्य विज्ञानी (ब्राज़ील)। एक विशिष्ट जूरी, जिसकी अध्यक्षा जर्मनी की पूर्व फेडरल चांसलर एंजेला मर्केल रहीं, ने 55 देशों के 143 नामांकनों में से इन तीन व्यक्तियों का चयन किया। इन विजेताओं का चयन उनके नेतृत्व और महत्वपूर्ण इकोसिस्टम को दशकों से बहाल करने व स्थानीय समुदायों के लाभ के लिए भूमि की रक्षा करने हेतु अथक परिश्रम को देखते हुए किया गया, जिसमें वन, परिदृश्य और मैंग्रोव शामिल हैं। वे सभी हमारी पृथ्वी के संरक्षण के लिए महत्वपूर्ण भूमि और जैव विविधता का संरक्षण करने और जलवायु परिवर्तन के प्रभावों को कम करने के लिए स्थानीय स्तर पर कार्य करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। बंदी उर्फ “अपाई जांगगुट” दयाक इबान सुंगई उटिक लॉन्ग हाउस के स्वदेशी समूह के एक बुजुर्ग और प्रथागत लीडर हैं, जो इंडोनेशियन बोर्नियो में पश्चिमी कालीमंतन के वर्षावनों में स्थित है। बंदी ने अपने पारंपरिक भूमि अधिकारों की मान्यता की जंग में 40 वर्षों से भी अधिक समय तक अपने समुदाय का कुशलतापूर्वक नेतृत्व किया। आखिरकार वर्ष 2020 में, इंडोनेशिया की सरकार ने दयाक इबान समुदाय को 9,500 हेक्टेयर भूमि की कानूनी मान्यता और स्वामित्व प्रदान किया।