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- गंभीर रूप से संक्रमण हुआ था उन्हें बाद में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा.
नई दिल्ली: कोरोना के बाद से ही देखा गया है कि जिन लोगों को गंभीर रूप से संक्रमण हुआ था उन्हें बाद में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा. इसी को लेकर एम्स की एक स्टडी में बड़ा दावा किया गया है. स्टडी में यह भी सामने आया है कि कोरोना के बाद काफी लोगों को हार्ट की बीमारी हो गई. एम्स की स्टडी में बताया गया है कि कैसे कोरोना के बाद आर्टरी पर असर पड़ा है और सिर्फ इतना ही नहीं ब्लड प्रेशर भी कंट्रोल में नहीं रहता है. कोरोना के बाद लोगों में बीपी की भी समस्या ज्यादा देखी गई है. ऐसे में अब एम्स के डॉक्टरों ने कोविड मॉडरेट मरीजों को सलाह दी है कि कोविड की वजह से हार्ट की आर्टरी के सेंसर में फॉल्ट आ जाता है. और जब ऐसा होता है तो आर्टरी सही से काम नहीं कर पाती. सेंसर के काम नहीं करने की वजह से कोविड के बाद लोगों के ब्लड प्रेशर में गिरावट आने की समस्या देखी गई है. एम्स के डॉक्टरों का दावा है कि हम यह साबित करने में सफल हुए हैं कि कोविड से आर्टरी का सेंसर स्टिफ (अकड़) हो जाता है और इस वजह से ब्लड प्रेशर कंट्रोल नहीं हो पाता है. इसलिए जिन लोगों को कोविड मॉडरेट और सीवियर हुआ है, उन्हें साल में कम से कम एक बार टेस्ट जरूर करा लेना चाहिए ताकि पता चलता रहे कि हार्ट और बीपी कंट्रोल में हैं या नहीं? क्योंकि निगरानी रखना जरूरी है.