- आयुर्वेद में इससे जूड़े कई फायदों के बारे में जिक्र किया गया है।
- इसमें एंटीबैक्टीरियल और एंटीइंफ्लेमेटरी गुण होते हैं
गिलोय एक ऐसी जड़ी-बूटी है जो सेहत के लिए बहुत उपयोग है भारत में कई सदियों से इसका इस्तेमाल बीमारियो को ठीक करने के लिए किया जाता रहा है। आयुर्वेद में इससे जूड़े कई फायदों के बारे में जिक्र किया गया है। इसमें कई ऐसी कई खूबीयां से युक्त है, जो हमारे स्वास्थ के लिए बहुत लाभदायक हैं।
दर्द और सूजन करें दूर
गिलोय का उपयोगों जोड़ों के दर्द और सूजन को दूर करने के लिए किया जाता है। इसमें एंटीबैक्टीरियल और एंटीइंफ्लेमेटरी गुण होते हैं जिनकी मदद से गठिया जैसे रोगों से छुटकारा पाने में मदद मिल सकती है । इसके अतिरिक्त, गिलोय का उपयोग अदरक के साथ रूमेटाइड अर्थराइटिस के उपचार में भी किया जाता है, यह एक पुरानी ऑटोइम्यून मेडिकल कंडीशन है, जो जोड़ों में सूजन का कारण बनती है।
बुखार का इलाज
गिलोय का उपयोग बुखार को ठीक करने के लिए भी किया जाता रहा है।गिलोय शरीर के तापमान को कम करने में और बुखार को ठीक करने में मदद करता हैं
पाचन में सुधार करता है
गिलोय में पाचन क्रिया को बढ़ाने वाले गुण होते हैं, जो पाचन प्रक्रिया को बेहतर बनाने और कब्ज से राहत दिलाने में मदद करते हैं।गिलोय पाचन क्रिया को भी ठीक करता है।
तनाव और थकान को कम करता है
गिलोय में एडाप्टोजेनिक गुण होते हैं, जो शरीर के तनाव और हार्मोन के लेवल को नियंत्रित करके तनाव और थकान को कम करने में आपकी काफी मदद करते हैं।
त्वचा के स्वास्थ्य में सुधार करता है
गिलोय में एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं जो त्वचा के स्वास्थ्य में सुधार करने और मुंहासे, धब्बे और अन्य स्किन कंडीशन को भी काफी कम कर सकते हैं। एंटीऑक्सीडेंट गुण से परिपूर्ण होने के कारण यह एजिंग के प्रभाव को काफी कम कर देता है।
सूजन कम करता है
गिलोय में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं, जो शरीर में सामान्य कारणों से होने वाली सूजन को कम करने और दर्द से राहत दिलाने में मददगार हो सकता है। इसके लिए आप गिलोय के जूस या फिर टैबलेट का भी सेवन कर सकते हैं।